श्रीलंका के राष्ट्रपति अनुरा कुमारा दिसानायके ने ऐसी बात कह दी है, जिसके बाद चीन भारत की तरफ आंख उठाने से पहले दस बार सोचेगा. उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से कहा है कि वह कभी भी श्रीलंका की जमीन का इस्तेमाल भारत के खिलाफ नहीं होने देंगे. इस पर पाकिस्तानी एक्सपर्ट कमर चीमा ने मालदीव और श्रीलंका को भारत के राज्य बताया और कहा कि श्रीलंका को 5 अरब डॉलर की मदद मिली है, जो वहां एग्रीकल्चर, डेयरी और फिशरीज में लगी है. इसका मतलब ये है कि पूरे देश को ही भारत चला रहा है और इसीलिए अनुरा दिसानायके ने ये आश्वासन दिया है क्योंकि उनके पास इसके सिवाय कुछ नहीं था. कमर चीमा ने ये भी कहा कि श्रीलंका चीन के पास जरूर जाएगा क्योंकि चाइनीज तो बाज नहीं आएंगे और वो इंडियन ओशियन में इनवेस्ट करना चाहेंगे, जिसके लिए श्रीलंका से बेहतर मुल्क नहीं हो सकता है.
उन्होंने कहा कि हमें एक चीज का तो पता है कि भारत और चीन ये कोशिश कर रहे हैं कि जैसे-तैसे वो अपने इनफ्लूएंस को श्रीलंका के अंदर बढ़ा सके. भारत तो कह रहा है कि हमे श्रीलंका के अंदर कनेक्टिविटी, एनर्जी पार्टनर्शिप, इनवेस्टमेंट की बात कर रहे हैं, लेकिन ये सारी चीजें करने के बाद इंडिया ने भी पूछा कि श्रीलंका कैसा फेवर करेगा. तो वहां पर अनुरा दियासानायके के पास कोई जवाब नहीं था सिवाय इसके कि वह भारत को यह एश्योरेंस दें.
पाक एक्सपर्ट कमर चीमा ने कहा कि इंडिया ने 5 अरब डॉलर की लाइन ऑफ क्रेडिट दी है और असिस्टेंस दिया है. ये बड़ी रकम है, कोई मजाक थोड़े है. ये पैसा हाउसिंग, एनर्जी इंफ्रास्ट्रक्चर, एग्रीकल्टर, फिशरीज, डेयरी में दिया है. इसका मतलब भारत तो पूरे श्रीलंका को चला रहा है. उन्होंने कहा, ‘इंडिया के लिए तो ये है कि मालदीव और श्रीलंका तो मेरे राज्य हैं, जैसे तमिलनाडू, कर्नाटक हैं क्योंकि 5 अरब डॉलर की लाइन ऑफ क्रेडिट कौन दे सकता है, ये तो वही मुल्क दे सकता है , जो ये महसूस करे कि यहां पर हमारी नेशनल सिक्योरिटी इंटरेस्ट बहुत हाई हैं. तो भारत कह रहा है कि जो पैसा दिया है वो ग्रांट है यानी कि हम आपसे मांगने वाले नहीं हैं.’
उन्होंने कहा कि चीन ने साल 2022 में श्रीलंका में ओशनोग्राफिक रिसर्च शिप भेजीं, जो यहां पर खुफिया जानकारियां इकट्ठा कर रही थीं. चीन बड़ी-बड़ी इंवेस्टमेंट कर रहा था कि कैसे श्रीलंका के इर्द-गिर्द बैठकर इंडिया की इंटेलीजेंस की जा सकती है, जिससे भारत बड़ा परेशान था. कमर चीमा ने कहा कि अनुरा दिसानायके अपनी फॉरेन पॉलिसी को लेकर काफी शांत थे, जिससे लोग काफी परेशान थे कि वह क्या करेंगे, लेकिन अब उन्होंने भारत को ये कमिटमेंट दे दी है कि हम कुछ भी ऐसा नहीं करेंगे जिससे इंडिया के इंटरेस्ट डिस्टर्ब हों.
कमर चीमा ने यह भी कहा कि भले श्रीलंका अभी ये कमिटमेंट कर रहा है, लेकिन उसको चीन के पास ही जाना है. उन्होंने कहा कि श्रीलंका की ब्यूरोक्रेसी, फॉरेन पॉलिसी और फौजें समझ गई हैं कि उन्हें भारत के साथ मिलकर काम करना है. वो समझ गए हैं कि जिस तरह मालदीव चीन जाकर इंडिया आ गया था, हमें इंडिया से होकर चीन चले जाना चाहिए क्योंकि चीन तो जाना ही है इन्हें आज नहीं तो कल. उन्होंने आगे कहा कि सवाल ये है कि चाइनीज तो बाज नहीं आएंगे, वो तो चाहेंगे हम इंडियन ओशियन में इंवेस्ट करें और श्रीलंका से बेहतर मुल्क नहीं हो सकता है. कमर चीमा ने कहा, ‘चीन ने इंडिया के इर्द-गिर्द अपना नेटवर्क फैलाया हुआ है. एक तो पाकिस्तान, दूसरा बांग्लादेश, नेपाल और श्रीलंका के अंदर भी चीन की प्रेजेंस है. तो इंडियंस महसूस करते हैं कि जिस तरह चीन ने पैसे के जरिए अपना प्रभाव बढ़ाया है, भारत को भी उसी तरह बढ़ाना होगा.’
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