बांग्लादेश में 1000 टेक्सटाइल यूनिट बंद हो चुकी हैं. बड़े ब्रांड ने यूपी में यूनिट लगाने के लिए संपर्क किया है. लखनऊ-हरदोई रोड पर टेक्सटाइल पार्क बन रहा है.
नई दिल्ली. पड़ोसी बांग्लादेश की हालत पिछले 2 महीने में बद से बदतर हो गई है. कभी दुनियाभर में जिस उद्योग के लिए उसका नाम शान से जाना जाता था, आज वह ठप पड़ गया है. हजारों लोग बेरोजगार हो गए और करोड़ों रुपये का काम छिन गया. लेकिन, कहते हैं न कि एक का नुकसान तो दूसरे का फायदा. बांग्लादेश की इस मुसीबत का फायदा यूपी को मिलने वाला है. खबर है कि दुनिया की कई बड़ी कंपनियां अब बांग्लादेश से अपना कारोबार समेटकर यूपी आने की तैयारी में हैं.
हिन्दुस्तान टाइम्स के अनुसार, बांग्लादेश के हालिया हालात ने उसके कपड़ा उद्योग की कमर तोड़ दी है. आलम ये है कि देश में 700 से 1000 छोटे और मझोले गारमेंट और टेक्सटाइल यूनिट बंद हो चुकी हैं. इससे सरकार और कारोबारियों को हजारों करोड़ के ठेके का नुकसान तो हुआ ही, वहां के लाखों कामगारों के हाथ से काम भी छिन गया है. हालांकि, अब कई बड़ी कंपनियों ने यूपी की राजधानी लखनऊ के पास अपना उद्योग लगाने के लिए सरकार से संपर्क किया है.
क्या है सीएम योगी की तैयारी
कई बड़े ब्रांड ने यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्नाथ सरकार से संपर्क किया और लखनऊ-हरदोई रोड पर टेक्सटाइल पार्क बनाने का प्रस्ताव दिया. यह पार्क 1,162 एकड़ में बनाने की तैयारी है. मामले से जुड़े अधिकारी का कहना है कि टेक्सटाइल्स पार्क के लिए जमीन आवंटन की प्रक्रिया शुरू की जा चुकी है. इसके लिए इन्फ्रा का काम भी चल रहा है.
कौन-कौन सी कंपनियां आएंगी
यूपी में टेक्सटाइल पार्क लगाने के लिए अरविंद मिल्स, वर्धमान, रिलायंस इंडस्ट्रीज लिमिटेड और आहुजा टेक्सटाइल्स मिल्स ने योगी सरकार से संपर्क साधा है. आपको बता दें इस टेक्सटाइल पार्क में करीब 400 छोटे-बड़े यूनिट लगाए जाएंगे. इससे 50 हजार लोगों को प्रत्यक्ष तौर पर रोजगार मिलेगा और लाखों अप्रत्यक्ष नौकरियां भी पैदा होंगी.
100 अरब डॉलर निर्यात का लक्ष्य
यूपी के एमएसएमई, खादी एवं कपड़ा मंत्री राकेश सचान का कहना है कि नए ऑर्डर को पूरा करने के लिए सभी बड़े ब्रांड अपना प्रोडक्शन बढ़ाने की दिशा में काम कर रहे हैं. लखनऊ के पास बन रहा नया टेक्सटाइल पार्क इन कंपनियों को अपना उत्पादन बढ़ाने का अवसर देगा. इस पार्क में बिजली, पानी, सड़क और वर्कफोर्स सभी उचित दरों पर उपलब्ध कराया जाएगा. भारत सरकार की मंशा है कि अगले 5 साल में कपड़े का निर्यात 100 अरब डॉलर (करीब 8.4 लाख करोड़ रुपये) तक पहुंचाना है.
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FIRST PUBLISHED : September 17, 2024, 13:03 IST