ट्रंप प्रशासन के इस फैसले से मुसीबत में पड़ सकते हैं भारतीय! वीजा संबंधी ये विभाग कर दिया ‘बंद’

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ट्रंप प्रशासन के इस फैसले से मुसीबत में पड़ सकते हैं भारतीय! वीजा संबंधी ये विभाग कर दिया ‘बंद’

US Immigration Policy: अमेरिका में ट्रंप प्रशासन ने एक चौंकाने वाला फैसला लिया है. ट्रंप प्रशासन के नेतृत्व में होमलैंड सुरक्षा विभाग (DHS) ने नागरिकता और आव्रजन सेवा (CIS) लोकपाल कार्यालय के पूरे स्टाफ को 60 दिनों की लंबी छुट्टी पर भेज दिया है. इसे एक अस्थायी बदलाव के रूप में नहीं बल्कि एक रणनीतिक फैसले के रूप में देखा जा रहा है. इस फैसले से यह संदेह और गहरा हो गया है कि ट्रंप प्रशासन की तरफ से स्वतंत्र आव्रजन निरीक्षण प्रणाली को धीरे-धीरे खत्म किया जा रहा है.

CIS कार्यालय United States Citizenship and Immigration Services (USCIS) के मुकाबले स्वतंत्र रूप से काम करता था. यह हर साल लगभग 30,000 लोगों को इमीग्रेशन संबंधी समस्या से बाहर निकालने में मदद करता था. इसका मुख्य उद्देश्य आव्रजन प्रक्रियाओं में पारदर्शिता और निष्पक्षता को सुनिश्चित करना था. हालांकि, अब CIS को अस्थायी रूप सें बंद किए जाने से USCIS के कामकाज पर कोई भी विभाग निगरानी नहीं रख सकता है.

इस बदलाव का सबसे ज्यादा असर भारतीय मूल के उन लोगों पर पड़ सकता है, जो H-1B वीजा पर अमेरिका में काम कर रहे हैं या F-1 वीजा पर पढ़ाई कर रहे हैं. यह दोनों वर्ग अक्सर USCIS की धीमी प्रक्रिया, दस्तावेज़ी गलतियों और फॉर्म प्रोसेसिंग में देरी के शिकार होते हैं. इसके लिए वो CIS लोकपाल का सहारा लेते थे, जो इनके काम को आसान बना देता था. हालांकि, अब ट्रंप का यह फैसला उनके लिए काफी मुश्किलें ला सकता है.
 
H-1B वीजा धारकों को परेशानी
CIS लोकपाल के अस्थायी रूप से बंद हो जाने पर H-1B वीजा धारकों को अपनी याचिका की स्थिति जानने या USCIS की असमानताओं को चुनौती देने के लिए वैकल्पिक रास्ते तलाशने होंगे. हालांकि, सबसे बड़ी चिंता यह है कि लोकपाल की अनुपस्थिति में USCIS की निर्णय प्रक्रिया पर कोई निष्पक्ष या स्वतंत्र नजर नहीं रहेगी.

आव्रजन वकीलों और सांसदों की प्रतिक्रिया
अमेरिकन इमिग्रेशन लॉयर्स एसोसिएशन (AILA) और कई वकालत समूहों ने इस फैसले की तीखी आलोचना की है. उनका मानना है कि यह कदम आव्रजन प्रणाली में पारदर्शिता की कमी और प्रशासनिक नियंत्रण के एकाधिकार की ओर इशारा करता है. डेमोक्रेटिक सांसदों ने विशेष रूप से इस कदम को कानूनी अनिवार्यता का अवहेलना बताया है, क्योंकि प्रभावित कार्यालय CIS  Office for Civil Rights and Civil Liberties कानून की मदद से स्थापित किया गया था और इसे हटाया नहीं जा सकता.

क्या कर सकते हैं प्रभावित अप्रवासी ?
लोकपाल के बंद होने के बाद प्रभावित अप्रवासियों के सामने कुछ प्रमुख विकल्प हैं:

1. अपने कांग्रेस प्रतिनिधि से संपर्क करें: कई मामलों में, प्रतिनिधि सीधे USCIS से जानकारी प्राप्त कर सकते हैं और मामलों को प्राथमिकता दिलवा सकते हैं.

2. आव्रजन वकील की मदद लें: विशेष रूप से मुश्किल मामलों के लिए पेशेवर मार्गदर्शन बेहद जरूरी है. AILA जैसी संस्थाओं से प्रमाणित वकीलों की मदद ली जा सकती है.

3. सभी दस्तावेज़ों का डिटेल रिकॉर्ड रखें: हर ईमेल, चिट्ठी, कॉल लॉग और आवेदन की कॉपी संभाल कर रखना चाहिए ताकि किसी भी समय उसे सबूत के रूप में प्रस्तुत किया जा सके.

4. प्रीमियम प्रोसेसिंग पर विचार करें: अगर कोई वीजा होल्डर आर्थिक रूप से संभव हो तो USCIS की प्रीमियम प्रोसेसिंग सुविधा का लाभ लेकर आवेदन की प्रक्रिया तेज कर सकते हैं.

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