Last Updated:June 24, 2025, 12:43 IST
अगले महीने क्वाड की बैठक है. इस बैठक में क्वाड देशों के विदेश मंत्री शामिल होंगे. भारत, अमेरिका, जापान और ऑस्ट्रेलिया के विदेश मंत्री चीन की आक्रामकता पर चर्चा करेंगे. एस जयशंकर भारत की रणनीति और ऑपरेशन सिंदूर …और पढ़ें
एस जयशंकर अगले महीने अमेरिका जाएंगे.
हाइलाइट्स
- एस जयशंकर अगले महीने अमेरिका जाएंगे.
- 1 जुलाई को क्वाड की बैठक है.
- इस बार चीन पर फोकस हो सकता है.
इजरायल-ईरान जंग और ऑपरेशन सिंदूर के बाद एक बार फिर फोकस चीन शिफ्ट हो गया है. दुनिया की चार महाशक्तियां एक बार फिर टेबल पर बैठने वाली हैं. भारत, अमेरिका, जापान और ऑस्ट्रेलिया… चारों देशों का अगले महीने जुटान होने जा रहा है. मंच होगा क्वाड मीटिंग. क्वाड की बैठक में भारत के विदेश मंत्री एस जयशंकर भी शामिल होने वाले हैं. 1 जुलाई 2025 को अमेरिका में क्वाड की विदेश मंत्रियों की बैठक है. मौजूदा वैश्विक हालात में एक बार फिर चर्चा के केंद्र में चीन होगा. हिंद-प्रशांत क्षेत्र में चीन की आक्रमकता को लेकर भी मंथन होगा और जयशंकर अपने पत्ते खोलेंगे.
जयशंकर दिखाएंगे भारत की ताकत
जयशंकर की अमेरिका यात्रा ऐसे वक्त में हो रही है, जब हाल ही में ट्रंप को पीएम मोदी ने फोन पर खूब सुनाया था. 18 जून को फोन पर पीएम मोदी और डोनाल्ड ट्रंप के बीच बातचीत हुई थी. उस वक्त पीएम मोदी ने भारत-पाक के बीच सीजफायर का क्रेडिट लेने पर सुनाया था और साफ कहा था कि भारत ने पाकिस्तान की तरफ से गुहार लगाने के बाद ही सीजफायर का फैसला किया था. भारत ने किसी तीसरे पक्ष को नहीं सुना. जयशंकर जब अमेरिकी विदेश मंत्री रुबियो के सामने रहेंगे तो ऑपरेशन सिंदूर और इजरायल-ईरान जंग पर भी भारत का स्टैंड बताएंगे.
चीन पर अब फोकस क्यों?
कब लिखी जाएगी फाइनल पटकथा
माना जा रहा है कि अमेरिका में क्वाड का सेमिफाइनल वाली बैठक है. इस साल के अंत यानी सितंबर-अक्टूबर में भारत में क्वाड की बैठक है. भारत में होने वाली क्वाड नेताओं के शिखर सम्मेलन से पहले विदेश मंत्रियों की बैठक भी अहम है. इसके लिए डोनाल्ड ट्रंप, ऑस्ट्रेलियाई पीएम एंथनी अल्बानी और जापान के पीएम शिगेरू इशिबा भारत की यात्रा कर सकते हैं. अमेरिका में एक ब्लूप्रिंट की नींव रखी जाएगी और भारत में उसे पटकथा का रूप दिया जाएगा. अब देखने वाली बात होगी कि मौजूदा वैश्विक परिदृश्य में भारत अपना झुकाव किस ओर दिखाता है और चीन को लेकर अपना स्टैंड कैसा रखता है.
चीन के खिलाफ कोई चाल?
यहां बताना जरूरी है कि जनवरी 2025 में हुई पिछली क्वाड बैठक में चारों देशों ने चीन की ताइवान और दक्षिण चीन सागर में एकतरफा कार्रवाइयों का विरोध किया था. इस बार इजरायल-ईरान युद्ध के बाद मध्य पूर्व से हिंद-प्रशांत तक स्थिरता की जरूरत पर जोर होगा. अमेरिकी विदेश मंत्री मार्को रुबियो के साथ जयशंकर की द्विपक्षीय वार्ता में कई मुद्दे भी उठेंगे. माना जा रहा है कि एस जयशंकर इस मंच का उपयोग चीन-पाकिस्तान को कूटनीतिक संदेश देने और वैश्विक मंच पर अपनी स्थिति मजबूत करने के लिए करेगा. ऐसे में अब सबकी निगाहें एस जयशंकर के उन ‘पत्तों’ पर टिकी हैं, जो वे अमेरिकी धरती से खोल सकते हैं.

Shankar Pandit has more than 10 years of experience in journalism. Before OXBIG NEWS NETWORK (Network18 Group), he had worked with Hindustan times (Live Hindustan), NDTV, India News Aand Scoop Whoop. Currently he handle ho…और पढ़ें
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