भारत की मजबूरी का फायदा उठाने आए हैं रूस और अमेरिका, पांचवीं पीढ़ी का विमान यूं ही नहीं लाए दोनों दुश्मन

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भारत की मजबूरी का फायदा उठाने आए हैं रूस और अमेरिका, पांचवीं पीढ़ी का विमान यूं ही नहीं लाए दोनों दुश्मन

Agency:News18Hindi

Last Updated:February 10, 2025, 15:12 IST

एयरो इंडिया इवेंट में रूस और अमेरिका ने अपने स्टील्थ फाइटर जेट शामिल किए. रूस का SU-57 और अमेरिका का F-35 भारत पहुंचे. दोनों भारत को जेट बेचने के इच्छुक हैं, क्योंकि भारत के लिए पांचवीं पीढ़ी के लड़ाकू विमान आव…और पढ़ें

रूस और अमेरिका के पांचवीं पीढ़ी के फाइटर जेट. (X/RajeevRC_X)

हाइलाइट्स

  • रूस और अमेरिका ने एयरो इंडिया में स्टील्थ फाइटर जेट दिखाए
  • भारत को पांचवीं पीढ़ी के लड़ाकू विमान की जरूरत है
  • रूस का SU-57 और अमेरिका का F-35 भारत में शामिल हुए

इस्लामाबाद: कोई सोच भी नहीं सकता था कि अमेरिका और रूस अपने सबसे घातक स्टील्थ फाइटर जेट एक दूसरे के सामने खड़ा करेंगे. लेकिन ऐसा हो गया है. सिर्फ भारत के पास यह क्षमता है कि दो दुश्मनों को वह एक साथ ले आए. भारत में हो रहे ‘एयरो इंडिया’ मेगा इवेंट में अमेरिका और रूस दोनों के पांचवीं पीढ़ी के फाइटर जेट शामिल हुए हैं. रूस का SU-57 और अमेरिका के F-35 लाइटनिंग II ने इसमें हिस्सा लिया. लेकिन दोनों देश एक बड़ा फायदा देखते हुए अपने फाइटर जेट भारत में लाए हैं. दोनों देश भारत को अपने-अपने फाइटर जेट बेचना चाहते हैं. क्योंकि उन्हें पता है कि पांचवीं पीढ़ी का फाइटर जेट अब भारत के लिए जरूरी नहीं बल्कि मजबूरी बनता जा रहा है.

दरअसल भारत के पड़ोस में सिर्फ चीन के पास पांचवीं पीढ़ी का फाइटर जेट है. चीन के J-35A को रडार नहीं पकड़ सकता. भारत के लिए अब यह टेंशन दोगुनी हो गई है, क्योंकि पाकिस्तान चीन से 40 J-35A खरीदने को लेकर बात कर रहा है. अगर यह डील फाइनल हो जाती है तो दुनिया में पाकिस्तान पहला और इकलौता देश होगा, जिसके पास चीन का स्टील्थ फाइटर जेट का स्क्वाड्रन होगा. अमेरिका के बाद चीन इकलौता देश है, जिसके पास दो पांचवीं पीढ़ी का सैन्य विमान है. पाकिस्तान अपने एफ-16 और मिराज लड़ाकू विमानों के बेड़े को बदलना चाहता है.

कौन सा विमान पड़ेगा सस्ता?
अमेरिका और रूस दोनों चाहते हैं कि उनकी भारत से डील हो जाए. क्योंकि भारत के साथ कोई भी डील अरबों डॉलर की होगी. रूस ने इच्छा जताई है कि वह भारत के साथ स्टील्थ फाइटर जेट का संयुक्त उत्पादन करने को तैयार है. इसके अलावा रूस को विश्वास है कि भारत के साथ उसकी डील हो जाएगी क्योंकि उसका पांचवीं पीढ़ी का सुखोई-57 विमान अमेरिका के एफ-35 की तुलना में सस्ता है. एक सुखोई-57 की कीमत 35 से 50 मिलियन डॉलर लगभग 4.5 अरब रुपए है. वहीं अमेरिका का एफ-35 की कीमत 80-110 मिलियन डॉलर के बीच है.

एशिया का सबसे बड़ा एयर शो
भारतीय रक्षा मंत्रालय ने रविवार को कहा था कि पहली बार एयरो इंडिया मेगा इवेंट में स्टील्थ क्षमताओं से लैस दुनिया के दो सबसे उन्नत पांचवी पीढ़ी के लड़ाकू विमान शामिल होंगे. एशिया का यह सबसे बड़ा एयर शो है. 10-14 फरवरी तक बेंगलुरु के एयरफोर्स स्टेशन में आयोजित होगा. मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि कुल 42000 वर्ग मीटर से ज्यादा के क्षेत्र में यह आयोजित होगा और 150 कंपनियों सहित 900 से ज्यादा प्रदर्शक शामिल होंगे. यह आयोजन अब तक का सबसे बड़ा एयरो इंडिया होगा.

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भारत की मजबूरी का फायदा उठाने आए हैं रूस और अमेरिका, समझें पूरी वजह

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