मोहम्मद यूनुस की नई चाल से मिट जाएगा इन हस्तियों का वजूद! बांग्लादेश में होने जा रहा बड़ा बदलाव

0
7
मोहम्मद यूनुस की नई चाल से मिट जाएगा इन हस्तियों का वजूद! बांग्लादेश में होने जा रहा बड़ा बदलाव

Bangladesh English Textbooks Changes: बांग्लादेश में शेख हसीना के देश छोड़ने के बाद से ही वहां कई बदलाव देखने को मिल रहे हैं. इस बीच खबर आ रही है कि यूनुस सरकार में प्राइमरी और मिडिल शैक्षणिक संस्थानों के लिए बांग्ला और अंग्रेजी टेक्स्टबुक में बड़े बदलाव होने जा रहे हैं, जिसमें बंगबंधु शेख मुजीबुर रहमान से संबंधित कुछ कंटेंट को हटाना भी शामिल है.

नेशनल करीकुलम और टेक्स्टबुक बोर्ड (एनसीबीटी) के सूत्रों ने बताया कि पांचवीं से नौवीं कक्षा की बांग्ला और अंग्रेजी टेक्स्टबुक में छात्रों के नेतृत्व में हुए जन-विद्रोह का कंटेंट शामिल किया जा सकता है. कक्षा छह से नौ की अंग्रेजी टेक्स्टबुक से शेख मुजीबुर रहमान पर छह पाठ्य और गद्य हटाए जाएंगे, जबकि जुलाई आंदोलन पर चार लेख जोड़े जाएंगे.

टीटूमीर पर हटाया जाएगा सारा कंटेंट
कक्षा 6 और 7 की बांग्ला टेक्स्टबुक से शेख मुजीबुर रहमान पर तीन गद्य और कविताएं हटाई जा सकती हैं और उनकी जगह जुलाई टेक्स्टबुक पर चार लेख जो़ड़े जा सकते हैं. कक्षा छह की बांग्ला टेक्स्टबुक से मौलाना अब्दुल हामिद खान भशानी और टीटूमीर पर सारा कंटेंट हटाया जाएगा. यह भी निर्णय लिया गया है कि सेलिना हुसैन के पांच कंटेंट, प्रोफेसर मुहम्मद जफर इकबाल के दो कंटेंट, सैयद शमसुल हक, रोकोनज्जमान खान, निर्मलेंदु गून और पूर्व नौकरशाह कमल चौधरी का एक-एक कंटेंट हटाया जाएगा.

अंतरिम सरकार का तर्क
एनसीटीबी (नेशनल करीकुलम और टेक्स्टबुक बोर्ड) के चेयरमैन प्रोफेसर एकेएम रियाजुल हसन ने कहा, “टेक्स्टबुक से बंगबंधु शेख मुजीबुर रहमान के बारे में अतिशयोक्तिपूर्ण कंटेंट हटाई जा रही है. एक नेता, एक देश – ऐसा नहीं है. अन्य नेता भी थे, जैसे शेर-ए-बांग्ला एके फजलुल हक, मौलाना भाशानी, और जियाउर रहमान, और उनके योगदान को कम करके आंकने का कोई मौका नहीं है.”

उन्होंने कहा कि बंगबंधु के बारे में कुछ कंटेंट हटाए जा रहे जैसे 1969 के जन विद्रोह, 1970 के चुनाव और 1971 में 7 मार्च के भाषण, अभी भी कई टेक्स्टबुक में मौजूद हैं. वहीं, मौलाना भशानी पर कंटेंट हटाने के बारे में उन्होंने कहा, “यह एक टेक्स्टबुक से हटाया गया हो सकता है, लेकिन इसे दूसरी में शामिल किया गया था.” कक्षा सात की टेक्स्टबुक से रोकेया सखावत हुसैन पर सामग्री हटाने के बारे में उन्होंने बताया, ” एक अलग पाठ्यपुस्तक में उन पर एक और लेख जोड़ा गया है,” 

पाठ्यपुस्तकों से हटाया गया कंटेंट

शम्सुर रहमान की कविता: “रौद्र रेखे जॉय”
लुत्फ़ोर रहमान की कविता: “फरवरी’र गान”
सेलिना हुसैन की लघु कहानी: “ओपेक्खा”
मौलाना अब्दुल हामिद खान भाशानी और तीतुमीर पर आधारित लेख.
जफर इकबाल, सैयद शमसुल हक, निर्मलेंदु गून, और कमल चौधरी जैसे प्रमुख लेखकों की रचनाएं

कविताएं
काज़ी नज़रुल इस्लाम की “अज सृष्टि शुखेर उल्लाशे”
सैयद शमसुल हक की “अमर पोरिचॉय”
निर्मलेंदु गून की “स्वाधीनोटा ई शोबदोती किभाबे अमादेर होलो”
कमल चौधरी की “शाहोशी जोनोनी अमर”
रवींद्रनाथ टैगोर की “देना पौना,” और हुमायूं अहमद की “नियोति”

शामिल किया गया नया कंटेंट

जुलाई विद्रोह पर आधारित लेख जैसे “अमरा तोमादेर भुलबो ना”
“सोबर अमी छत्रो” और “व्यंग्य और विरोध की भाषा”
जलपुरी ओ कथुरेर गोल्पो, नोलोक, और कुमरो ओ पाखिर कोथा
जुलूस और भित्तिचित्र कला पर आधारित विषय-वस्तु

बंगबंधु शेख मुजीबुर रहमान पर आधारित गद्य, जिनमें उन्हें “1,000 वर्षों का सर्वश्रेष्ठ बंगाली” और “मुक्ति संग्राम के निर्विवाद नेता बताया गया था,उसे हटा दिया गया. “राष्ट्रपिता” शब्द को हटाकर “संस्थापक पिता” की अवधारणा को प्राथमिकता दी गई.

world news, world news today, latest world news, latest news, hindi world news, hindi news today, oxbig news, oxbig news network, oxbig hindi, oxbig hindi news, hindi oxbig, oxbig

English News

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here