Last Updated:April 21, 2025, 20:31 IST
China-US Tariff War: चीन ने अमेरिका के टैरिफ से छूट पाने की कोशिश कर रहे देशों को चेतावनी दी है कि वे चीन के हितों की कीमत पर समझौते न करें. वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण अमेरिका दौरे पर हैं.
चीन के वाणिज्य मंत्रालय के एक अधिकारी ने सोमवार को कहा कि झुकने से शांति नहीं मिलेगी और समझौते से सम्मान नहीं मिलेगा. (फोटो AP/Reuters)
हाइलाइट्स
- निर्मला सीतारमण अमेरिका दौरे पर पहुंचीं.
- चीन ने देशों को अमेरिका के फरेब से बचने की चेतावनी दी.
- चीन ने अमेरिका पर “साम्राज्यवादी राजनीति” का आरोप लगाया.
China-US Tariff War: भारत की वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण रविवार (स्थानीय समयानुसार) को अपने पांच दिवसीय अमेरिका दौरे के लिए सैन फ्रांसिस्को इंटरनेशनल एयरपोर्ट पहुंचीं. यह दौरा 20 अप्रैल से 25 अप्रैल तक निर्धारित है. इस बीच चीन ने दुनिया को आगाह किया है. चीन ने उन देशों को चेतावनी दी है जो अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के टैरिफ से छूट पाने की कोशिश कर रहे हैं कि वे चीन के हितों की कीमत पर समझौते न करें.
चीन की यह चेतावनी तब आई है जब बहुत सारे देश अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के लगाए गए टैक्स से छूट पाना चाहते हैं. ट्रंप ने कुछ देशों के सामान पर भारी टैक्स लगाने की बात कही है, जिसे जुलाई तक रोक दिया गया है. चीन के वाणिज्य मंत्रालय के एक अधिकारी ने सोमवार को कहा कि झुकने से शांति नहीं मिलेगी और समझौते से सम्मान नहीं मिलेगा.
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चीन का लहजा धमकी भरा
उन्होंने कहा कि अगर कोई देश अपने फायदे के लिए दूसरों का नुकसान करता है और अमेरिका से छूट पाने की कोशिश करता है, तो यह टाइगर से बात करने जैसा है. इसका नतीजा दोनों के लिए बुरा होगा और सबको नुकसान होगा. चीन ने कहा कि वह उन देशों की कोशिशों का सम्मान करता है जो अमेरिका के साथ अपने व्यापार के झगड़े को सुलझाना चाहते हैं. लेकिन उन देशों को “सही और निष्पक्ष” रहना चाहिए और “इतिहास के सही तरफ” खड़ा होना चाहिए.
मंत्रालय ने यह भी कहा कि चीन खासकर इस बात का विरोध करता है कि कोई भी देश चीन के हितों का नुकसान करके अमेरिका से समझौता करे. प्रवक्ता ने कहा कि अगर ऐसा होता है, तो चीन इसे मानेगा नहीं और कड़ा जवाब देगा. यह बयान तब आया जब एक खबर में कहा गया कि ट्रंप प्रशासन उन देशों पर दबाव डाल रहा है जो टैक्स से छूट चाहते हैं, ताकि वे चीन के साथ अपना व्यापार कम करें.
चीन अमेरिका में बढ़ी टकराहट का नतीजा ये धमकी
खबर में यह भी कहा गया कि अमेरिकी अधिकारी दूसरे देशों से कह रहे हैं कि वे चीन से और सामान न खरीदें और जो देश चीन के करीब हैं, उनसे आने वाले सामान पर टैक्स लगाएं. ट्रंप ने बहुत से देशों से आने वाले सामान पर लगने वाले टैक्स को 90 दिनों के लिए रोक दिया है. लेकिन उन्होंने चीन के साथ व्यापार युद्ध को बढ़ाते हुए चीनी सामान पर टैक्स को बहुत ज्यादा बढ़ा दिया है.
चीन ने भी अमेरिका से आने वाले सामान पर ज्यादा टैक्स लगाकर जवाब दिया है. चीन ने कहा है कि अगर अमेरिका व्यापार के झगड़े को बढ़ाता है तो वह “अंत तक लड़ेगा”. अमेरिका के एक बड़े अधिकारी स्कॉट बेसेन्ट ने कहा है कि 70 से ज्यादा देशों ने व्यापार समझौते पर बात करने में रुचि दिखाई है. जापान के अधिकारी पिछले हफ्ते अमेरिका गए थे ताकि कारों और स्टील जैसे अपने मुख्य सामान पर छूट पा सकें. वहीं दक्षिण कोरिया के अधिकारी भी इस हफ्ते बातचीत शुरू करने वाले हैं.
ट्रंप प्रशासन को भी चीन ने धमकाया
चीन के खिलाफ व्यापारिक कार्रवाई बढ़ाने के बावजूद ट्रंप ने पिछले हफ्ते कहा था कि उन्हें उम्मीद है कि चीन के साथ एक “बहुत अच्छा” व्यापार समझौता होगा. सोमवार को अपने बयान में चीन के वाणिज्य मंत्रालय ने ट्रंप प्रशासन पर “साम्राज्यवादी राजनीति” और “एकतरफा धमकाने” का आरोप लगाया. उन्होंने कहा कि यह सब “प्रतिस्पर्धा” के नाम पर किया जा रहा है. प्रवक्ता ने कहा कि अगर अंतर्राष्ट्रीय व्यापार “जंगल के कानून” जैसा हो जाएगा तो सभी देश पीड़ित होंगे. उन्होंने कहा कि चीन सभी देशों के साथ मिलकर काम करने, एकतरफा दबाव का मिलकर विरोध करने, अपने अधिकारों की रक्षा करने और अंतर्राष्ट्रीय न्याय की रक्षा करने के लिए तैयार है.
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