हॉस्टल पर क्रैश हुआ एयर इंडिया का प्लेन, हादसे में बचा शख्स बोला- ‘अगर 15 मिनट और रुक जाता तो..

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Ahmadabad London Flight Crash: एअर इंडिया का लंदन जा रहा एक विमान गुरुवार (12 जून, 2025) दोपहर अहमदाबाद हवाई अड्डे से उड़ान भरने के कुछ ही मिनट बाद एक मेडिकल कॉलेज परिसर में दुर्घटनाग्रस्त हो गया. इस हादसे में, विमान में सवार 241 लोगों की मौत हो गई जबकि एक यात्री ने विमान से कूद कर अपनी जान बचा ली.
सरदार वल्लभभाई पटेल अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे के पास, शहर के सिविल अस्पताल और बीजे मेडिकल कॉलेज परिसर में बोइंग 787 ड्रीमलाइनर (एआई171) के दुर्घटनाग्रस्त हुआ. इस मेडिकल कॉलेज में पढ़ने वाले छात्रों ने बेहद ही खौफनाक कहानी बताई है. एक छात्र का कहना है कि वो कुछ ही देर पहले परिसर से बाहर निकला था, अगर कुछ देर वहां पर रुक जाता तो उसकी गिनती या तो घायलों में होती या मृतकों में.
जानें क्या कहा हॉस्पिटल के इंटर्न ने?
अस्पताल में इंटर्न रोहन बागडे ने कहा कि किस्मत ने उन्हें बचा लिया क्योंकि वे दुर्घटना से कुछ समय पहले ही मेस से निकले थे. उन्होंने कहा, “अगर मैं मेस में शायद 15 मिनट और रुकता, तो मैं भी घायलों में से एक होता. मैंने अभी-अभी अपना लंच खत्म किया था और अपने हॉस्टल वापस आया था. तभी मैंने एक जोरदार धमाका सुना, जैसे कोई धमाका हुआ हो. मैं बाहर भागा और देखा कि आसमान काले धुएं से भर गया है और बाकी सब अब सभी जान ही चुके हैं.”
‘घटना को समझने में दो से तीन मिनट का समय लगा’
वहीं, अहमदाबाद सिविल हॉस्पिटल में सेकेंड ईयर के पोस्टग्रेजुएट रेजिडेंट डॉक्टर केयूर प्रजापति ड्यूटी पर थे, जब उन्होंने खिड़की के बाहर आसमान में तेज आवाज और घना काला धुआं उठते देखा. कुछ ही मिनटों में प्रजापति और उनके सहकर्मियों के फोन बजने लगे. प्रजापति ने कहा कि उन्हें यह समझने में कुछ समय लगा कि 242 लोगों को लेकर लंदन जा रहा एयर इंडिया का विमान अहमदाबाद हवाई अड्डे से उड़ान भरने के कुछ ही मिनटों बाद दुर्घटनाग्रस्त हो गया था.
प्रजापति ने कहा, “मैं सिविल अस्पताल में ड्यूटी पर था, जब मैंने खिड़की से बाहर देखा तो काला धुआं दिखाई दिया. कुछ ही सेकंड में हमारे फोन बजने लगे. मुझे यह समझने में दो से तीन मिनट और लग गए कि क्या हुआ था.” प्रजापति ने कहा कि विमान उनके परिसर में स्थित चार इमारतों से टकराया और उन्हें बुरी तरह क्षतिग्रस्त कर दिया, जिसमें एक अंडर ग्रेजुएट (यूजी) हॉस्टल मेस और सुपरस्पेशलिटी डॉक्टरों के क्वार्टर शामिल हैं, जो अपने परिवारों के साथ वहां रहते हैं.
‘एंबुलेंस में ही तोड़ दिया दम’
प्रजापति करीब एक किलोमीटर दूर दुर्घटनास्थल पर पहुंचे और घायलों को एंबुलेंस में डालना शुरू किया. उन्होंने कहा, “मैंने सुपरस्पेशलिटी डॉक्टरों के क्वार्टर से सबसे पहले एक युवती को बाहर निकालने में मदद की, जो गंभीर रूप से जल गई थी. इससे पहले कि हम उसे अस्पताल ले जा पाते, उसने एंबुलेंस में ही दम तोड़ दिया. कई अन्य लोग गंभीर रूप से जल गए और अभी अस्पताल में उनका इलाज चल रहा है.”
जब विमान दुर्घटनाग्रस्त हुआ, उस समय बीजे मेडिकल कॉलेज के हॉस्टल के मेस में बड़ी संख्या में छात्र दोपहर का खाना खा रहे थे. अहमदाबाद के सिविल अस्पताल के एक अन्य रेजिडेंट डॉक्टर आयुष ने बताया कि इस दुर्घटना के कारण मेघानी नगर में अफरा-तफरी मच गई. आयुष ने बताया, “हमारे दोस्त और जूनियर गंभीर रूप से घायल हो गए हैं और उनका इलाज अब सिविल अस्पताल में चल रहा है.”
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