जिससे दूरी बना रहे भारत और पूरी दुनिया, पाकिस्तान ने उसे ही लगाया गले

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Last Updated:May 29, 2025, 20:27 ISTपाकिस्तान क्रिप्टो को तेजी से अपना रहा है जबकि भारत इसे लीगल टेंडर मानने से इनकार कर रहा है. पाकिस्तान ने ‘Pakistan Crypto Council’ बनाई है.हाइलाइट्सपाकिस्तान ने ‘Pakistan Crypto Council’ का गठन किया.भारत ने क्रिप्टो को लीगल टेंडर मानने से इनकार किया.पाकिस्तान क्रिप्टो से विदेशी निवेश आकर्षित करना चाहता है.नई दिल्ली. दुनियाभर में जहां कई देश क्रिप्टोकरेंसी को लेकर सतर्क हैं, वहीं पाकिस्तान तेजी से इसे अपनाने की दिशा में बढ़ रहा है. इसकी बड़ी वजह है आर्थिक संकट, डॉलर की कमी, और तेज़ी से बढ़ता युवा क्रिप्टो यूजर बेस. दूसरी ओर, भारत दुनिया में सबसे ज्यादा क्रिप्टो यूज़र्स वाला देश होते हुए भी इसे लीगल टेंडर यानी वैध मुद्रा मानने से इनकार करता है. ऐसा क्यों है, और दोनों देशों की रणनीति में इतना अंतर क्यों है, आइए समझते हैं.

पाकिस्तान ने 2018 और 2023 में क्रिप्टो पर बैन लगाया था, लेकिन 2025 में उसने यू-टर्न लेते हुए ‘Pakistan Crypto Council’ का गठन किया. यह नई संस्था डिजिटल एसेट्स के लिए रेगुलेटरी फ्रेमवर्क बना रही है. इसकी वजहें साफ हैं.

देश में लगभग 15-20 मिलियन लोग क्रिप्टो का इस्तेमाल करते हैं.

2021 में पाक नागरिकों के पास $20 अरब की क्रिप्टो होल्डिंग थी, जो स्टेट बैंक के फॉरेन रिजर्व से ज्यादा थी.

IMF ने पाकिस्तान को सलाह दी है कि वह क्रिप्टो पर टैक्स लगाए ताकि कर्ज चुकाने में मदद मिल सके.

देश के युवा, जो आबादी का 60% हैं, टेक-सेवी हैं और ब्लॉकचेन-एआई सेक्टर में अवसर चाहते हैं.

पाकिस्तान अब सरप्लस बिजली को बिटकॉइन माइनिंग और डेटा सेंटर्स में इस्तेमाल करने की योजना बना रहा है. इससे ऊर्जा की बर्बादी कम होगी और विदेशी निवेश का रास्ता खुलेगा.

भारत का रुख: बड़ी अर्थव्यवस्था, बड़ी जिम्मेदारी

भारत भी क्रिप्टो का बड़ा यूजर है—लगभग 10 करोड़ लोग इससे जुड़े हैं. लेकिन सरकार इसे लीगल टेंडर मानने से लगातार इनकार कर रही है. इसके पीछे कई ठोस वजहें हैं:

RBI का मानना है कि क्रिप्टो मौद्रिक नीति पर नियंत्रण को कमजोर करता है.

2022 से भारत ने क्रिप्टो पर 30% टैक्स और 1% TDS लागू किया है.

क्रिप्टो को ‘Virtual Digital Asset’ का दर्जा मिला है, लेकिन इसे मुद्रा नहीं माना गया है.

भारत ने e-Rupee नाम से अपना खुद का डिजिटल रुपया लॉन्च किया है, ताकि केंद्रीय नियंत्रण बना रहे.

क्रिप्टो में मनी लॉन्ड्रिंग, टेरर फंडिंग और टैक्स चोरी की आशंका भी चिंता का विषय है.

ग्लोबल दबाव और अंतरराष्ट्रीय रुख

भारत ने G20 अध्यक्षता के दौरान वैश्विक क्रिप्टो रेगुलेशन की वकालत की और कहा कि बिना अंतरराष्ट्रीय सहमति के इसे मान्यता देना खतरनाक हो सकता है. वहीं पाकिस्तान ने ग्लोबल इंवेस्टमेंट लुभाने के लिए Binance के फाउंडर चांगपेंग झाओ को सलाहकार बनाया है और Trump समर्थित वर्ल्ड लिबर्टी फाइनेंशियल से साझेदारी की है.

क्या पाकिस्तान की रणनीति कारगर होगी?

हालांकि पाकिस्तान की रणनीति साहसी लगती है, लेकिन इसमें जोखिम भी हैं. कमजोर ग्रिड, भ्रष्टाचार, और FATF की सख्ती पहले भी क्रिप्टो पर बैन का कारण बन चुकी हैं. वहीं, El Salvador जैसे देशों के अनुभव भी बताते हैं कि केवल Bitcoin को अपनाने से आर्थिक चमत्कार नहीं होता.
Jai Thakurजय ठाकुर 2018 से खबरों की दुनिया से जुड़े हुए हैं. 2022 से News18Hindi में सीनियर सब एडिटर के तौर पर कार्यरत हैं और बिजनेस टीम का हिस्सा हैं. बिजनेस, विशेषकर शेयर बाजार से जुड़ी खबरों में रुचि है. इसके अलावा दे…और पढ़ेंजय ठाकुर 2018 से खबरों की दुनिया से जुड़े हुए हैं. 2022 से News18Hindi में सीनियर सब एडिटर के तौर पर कार्यरत हैं और बिजनेस टीम का हिस्सा हैं. बिजनेस, विशेषकर शेयर बाजार से जुड़ी खबरों में रुचि है. इसके अलावा दे… और पढ़ेंभारत पाकिस्तान की ताज़ा खबरें OXBIG NEWS NETWORK India पर देखेंLocation :New Delhi,Delhihomebusinessजिससे दूरी बना रहे भारत और पूरी दुनिया, पाकिस्तान ने उसे ही लगाया गले

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