म्यूचुअल फंड्स मैनेज करने वाले बड़े ग्रुप्स को ही भारत में घरेलू संस्थागत निवेशक या DII कहा जाता है. भारत में शेयर बाजार को संभालने वालों में FIIs और DIIs ही होते हैं. ये दोनों जिन शेयरों में पैसा लगाते हैं, वे काफी मजबूती से टिके रहते हैं. इसके उलट ये दोनों जिन शेयरों से पैसा निकालते हैं, उनका गिरना लगभग तय माना जाता है. ऐसा इसलिए, क्योंकि ये बड़ी मात्रा में शेयरों की खरीद-बेच करते हैं. कई निवेशक तो पैसा लगाने से पहले यही देखते हैं बड़े निवेशकों ने कहां पैसा लगाया है. जून महीने का आंकड़ा आ चुका है और पता चल गया है कि म्यूचुअल फंड्स ने किन शेयरों में पैसा लगाया है और किन-से निकाला है.
रिपोर्ट के मुताबिक, बीएसई (BSE) में कुल 4,000 से ज्यादा कंपनियां लिस्टेड हैं, लेकिन म्यूचुअल फंड्स ने केवल लगभग 1,200 कंपनियों में ही निवेश किया. इनमें भी सबसे ज्यादा पैसा कुछ गिनी-चुनी कंपनियों में ही लगाया गया. ये बड़ी पूंजी वाली संस्थाएं पैनी स्टॉक में पैसा लगाने से बचती हैं.
जून महीने की बात करें तो म्यूचुअल फंड्स ने सिर्फ 16 कंपनियों में 1,000 करोड़ से 10,000 करोड़ रुपये तक का निवेश किया है. इसके अलावा 21 कंपनियों को 500 करोड़ से 1,000 करोड़ रुपये के बीच निवेश मिला है. बाकी कंपनियों में यह निवेश 1 करोड़ से 500 करोड़ रुपये के बीच है.
दूसरी तरफ, कुछ कंपनियों में म्यूचुअल फंड्स ने अपने पैसे निकाले भी हैं. कुल 9 कंपनियों से 1,000 करोड़ रुपये से ज्यादा की बिकवाली हुई. 16 और कंपनियों से 500 करोड़ से 1,000 करोड़ रुपये के बीच की बिक्री हुई. इसके अलावा 400 से ज्यादा कंपनियों से म्यूचुअल फंड्स ने 1 करोड़ से 500 करोड़ रुपये तक का पैसा निकाला.
सबसे बड़ी खरीदारी एशियन पेंट्स में
सबसे बड़ी खरीदारी एशियन पेंट्स (Asian Paints) में हुई, जहां म्यूचुअल फंड्स ने 10,000 करोड़ रुपये से ज्यादा का निवेश किया. यह निवेश तब हुआ, जब रिलायंस इंडस्ट्रीज (Reliance Industries) ने ब्लॉक डील के ज़रिए अपनी हिस्सेदारी बेची. दूसरी बड़ी कंपनी है विशाल मेगा मार्ट (Vishal Mega Mart). इसमें भी म्यूचुअल फंड्स ने 7,865 करोड़ रुपये लगाए, जब इसके प्रमोटर ने अपने शेयर बेचे.
जून में खरीदारीजून में बिकवालीकंपनी का नामराशि (₹ करोड़)कंपनी का नामराशि (₹ करोड़)एशियन पेंट्स10093.6आईसीआईसीआई बैंक-1653.3विशाल मेगा मार्ट7861.5इंफोसिस-1499.8बजाज फिनसर्व4766.9रिलायंस इंडस्ट्रीज़-1491.2डिक्सन टेक्नोलॉजीज (इंडिया)4369.6एचडीएफसी बैंक-1487.6एनटीपीसी3490टाटा मोटर्स-1166.3बायोकॉन3343.6कोल इंडिया-1121.6स्टेट बैंक ऑफ इंडिया2919.3इंडसइंड बैंक-1049.7ट्रेंट2738.3भारती एयरटेल-1029.5केन्स टेक्नोलॉजी इंडिया2568.5एचसीएल टेक्नोलॉजीज-1020.9सिएमेंस एनर्जी इंडिया2350.9सोलर इंडस्ट्रीज़ इंडिया-952स्विगी1169.5टाटा कंसल्टेंसी सर्विसेज (TCS)-929.3आदित्य बिड़ला कैपिटल1128.4अल्ट्राटेक सीमेंट-901.3साई लाइफ साइंसेज1108.1ICICI लोम्बार्ड जनरल इंश्योरेंस-883.9महिंद्रा एंड महिंद्रा फाइनेंशियल सर्विसेज1072.2नेस्ले इंडिया-878.8अल्केम लैबोरेट्रीज़1030स्रोत : Primedatabase
इसके अलावा, जिन कंपनियों में 2,000 करोड़ से लेकर 4,750 करोड़ रुपये तक का निवेश हुआ, उनमें बजाज फिनसर्व, डिक्सन टेक्नोलॉजीज, एनटीपीसी, बायोकॉन, स्टेट बैंक ऑफ इंडिया, ट्रेंट, केन्स टेक्नोलॉजी और सिएमेंस एनर्जी इंडिया शामिल हैं. स्विग्गी, आदित्य बिड़ला कैपिटल, साई लाइफ साइंसेज़, महिंद्रा एंड महिंद्रा, अल्केम लैबोरेट्रीज़ और प्रीमियर एनर्जीज़ में भी 1,000 करोड़ रुपये से अधिक का निवेश हुआ है.
किन शेयरों से पैसा निकाला गया
आईसीआईसीआई बैंक (ICICI Bank) में सबसे ज्यादा 1,653 करोड़ रुपये की बिकवाली हुई है. इसके बाद इन्फोसिस और रिलायंस इंडस्ट्रीज़ में क्रमशः 1,500 करोड़ और 1,492 करोड़ रुपये की बिकवाली हुई. इसके अलावा टाटा मोटर्स, कोल इंडिया, इंडसइंड बैंक और भारती एयरटेल जैसी बड़ी कंपनियों में भी म्यूचुअल फंड्स ने 1,000 करोड़ रुपये से ज्यादा के शेयर बेचे हैं.
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