Last Updated:April 25, 2025, 10:54 ISTअमेरिका-चीन टैरिफ वार से दोनों देशों पर दबाव बढ़ा है. अमेरिका ने चीन से आयातित इलेक्ट्रॉनिक्स पर 145% टैरिफ छूट दी, जिससे चीन भी 125% शुल्क हटाने पर विचार कर रहा है.टैरिफ वार की आंच दोनों ही देशों को झुलसा रही है. हाइलाइट्सअमेरिका-चीन टैरिफ वार में नरमी आई.अमेरिका ने 145% टैरिफ छूट दी.चीन 125% शुल्क हटाने पर विचार कर रहा.नई दिल्ली. अमेरिका और चीन की बीच जारी टैरिफ वार से दोनों ही देशों की सांसें फूलने लगी है. यही वजह है कि अमेरिका द्वारा चीन से आयातित कुछ इलेक्ट्रोनिक्स उत्पादों को 145 फीसदी टैरिफ से छूट देने के बाद चीन भी अब ऐसा ही कदम उठाने जा रहा है. ब्लूमबर्ग की एक रिपोर्ट के अनुसार, चीन सरकार अमेरिका से आयातित कुछ प्रमुख वस्तुओं पर लगे 125% शुल्क को हटाने पर विचार कर रही है. टैरिफ के चलते निर्माण लागत बढ़ने से चीन के कुछ औद्योगिक सेक्टर काफी दबाव में है. इन्हें बचाने के लिए ही चीन टैरिफ पर अपना रुख नरम करने को मजबूर हुआ है. हालांकि, चीन के वित्त मंत्रालय और सीमा शुल्क प्रशासन ने इस संबंध में कोई आधिकारिक टिप्पणी नहीं की है. अमेरिका और चीन के टैरिफ पर नरम पडने का असर वैश्विक शेयर बाजारों पर भी होगा और गिरावट थमेगी. चीन के शेयर बाजार पर इसका असर दिख रहा है और आज शंघाई कम्पोजिट हरे निशान में कारोबार कर रहा है. इसी तरह अमेरिका का एसएंडपी फ्यूचर और नेस्डैक 100 भी हरे निशान में है.
सूत्रों के मुताबिक, चीन सरकार चिकित्सा उपकरणों और एथेन जैसे कुछ औद्योगिक रसायनों को अतिरिक्त टैरिफ से छूट देने की योजना बना रही है. विमान किराये पर लगने वाले टैरिफ को भी हटाया जा सकता है. गौरतलब है कि अधिकांश चीनी विमानन कंपनियां अपने सभी विमान खुद नहीं रखतीं, बल्कि उन्हें किराए पर लेकर चलाती हैं. ऐसे में भारी शुल्क का बोझ उठाना उनके लिए बेहद मुश्किल हो सकता है.
अमेरिका ने भी दी है टैरिफ से कुछ छूटइस महीने की शुरुआत में अमेरिका ने चीन से आयातित इलेक्ट्रॉनिक्स पर 145% टैरिफ से छूट दी थी. स्मार्टफोन, कंप्यूटर, हार्ड ड्राइव, चिप्स और फ्लैट स्क्रीन डिस्प्ले जैसे उत्पादों को 145% टैरिफ से बाहर कर दिया है. इससे ऐप्पल और एनवीडिया जैसी कंपनियों को राहत मिली है. हालांकि यह छूट अस्थायी है. अब चीन के भी कुछ अमेरिकी उत्पादों को टैरिफ से छूट देने पर विचार करने से साफ है कि दोनों ही देशों को टैरिफ वार की आंच अब झुलसाने लगी है और वे अब इससे अपने प्रमुख उद्योगों को बचाने के लिए कदम उठा रहे हैं.
सूत्रों का कहना है कि छूट की सूची अब भी तैयार हो रही है और इस पर अंतिम निर्णय लिया जाना बाकी है. सरकार ने प्रभावित कंपनियों से उन अमेरिकी उत्पादों के कस्टम कोड मांगे हैं, जिन पर वे छूट की मांग कर रही हैं. वहीं एक चीनी एयरलाइन को सूचित किया गया है कि फ्री ट्रेड ज़ोन में विमान किराए पर देने वाली कंपनियों को भुगतान नई शुल्क व्यवस्था से मुक्त रहेगा.
सेमीकंडक्टर क्षेत्र को भी राहत की उम्मीदचीनी पत्रिका ‘Caijing’ के अनुसार, बीजिंग कम से कम आठ सेमीकंडक्टर से संबंधित उत्पादों पर अतिरिक्त शुल्क हटाने की योजना बना रहा है. हालांकि, मेमोरी चिप्स को इसमें शामिल नहीं किया गया है, जिससे अमेरिकी कंपनी माइक्रोन टेक्नोलॉजी को झटका लग सकता है.
Location :New Delhi,New Delhi,DelhiFirst Published :April 25, 2025, 10:54 ISThomebusinessटैरिफ वॉर के बीच आई अच्छी खबर, डोनाल्ड ट्रंप के बाद चीन भी पड़ा नरम
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