टैरिफ पर नया फॉर्मूला! यूएस और भारत के बीच होगा ट्रेड एग्रीमेंट? समझिए मायने

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Last Updated:March 21, 2025, 16:50 ISTभारत और अमेरिका के बीच द्विपक्षीय व्यापार समझौते पर चर्चा चल रही है, जिससे टैरिफ कम होंगे, आयात-निर्यात बढ़ेगा और आर्थिक सहयोग मजबूत होगा. अगले 8-9 महीने में इसका पहला चरण लागू हो सकता है. इससे व्यापारिक लागत घ…और पढ़ेंट्रेड एग्रीमेंट में 2 देशों आपस में व्यापार को सरल बनाने का प्रयास करते हैं.हाइलाइट्सभारत और यूएस के बीच ट्रेड एग्रीमेंट पर चर्चा जारी.ट्रेड एग्रीमेंट से टैरिफ कम होंगे और आयात-निर्यात बढ़ेगा.पहला चरण अगले 8-9 महीने में लागू होगा.नई दिल्ली. यूएस द्वारा भारत समेत दुनिया के अन्य देशों के उत्पादों पर लगाए जा रहे टैरिफ की खबरों के बीच एक नई जानकारी सामने आ रही है. विदेश मंत्रालय ने कहा है कि भारत और यूएस द्विपक्षीय व्यापार समझौते (बाइलेट्रल ट्रेड एग्रीमेंट) को लेकर चर्चा कर रहे हैं. मंत्रालय के अनुसार, भारत सरकार कई स्तर पर अमेरिका के साथ वार्ता कर रही है. पिछले महीने भी सरकार की ओर से इसके बारे में जानकारी दी गई थी और कहा गया था कि अगले 8-9 महीने में इसके पहले चरण को लागू कर दिया जाएगा. अब एक बार फिर सरकार ने इसकी पुष्टि कर दी है.

भारत और यूएस के बीच ट्रेड एग्रीमेंट होता है तो इसका फायदा क्या होगा? ट्रेड एग्रीमेंट होता है क्या है और इस समझौते का असर भारत पर यूएस द्वारा लगाए जाने वाले टैरिफ में क्या कोई बदलाव होगा. ये ऐसे कुछ सवाल हैं जो आपके मन में उठ रहे होंगे. आइए इनके बारे में एक-एक कर जानने का प्रयास करते हैं.

क्या होता है द्विपक्षीय व्यापार समझौता?आमतौर पर जब 2 देशों के बीच बाइलेट्रल ट्रेड एग्रीमेंट फ्री ट्रेड को बढ़ावा देने के लिए लाया जाता है. फ्री ट्रेड एग्रीमेंट का मतलब होता है कि दोनों देश आपसी सहमति से अपने-अपने उत्पादों के एक-दूसरे के साथ आयात-निर्यात पर शुल्क को या तो खत्म कर देते हैं या फिर बहुत कम कर देते हैं. बाइलेट्रल ट्रेड एग्रीमेंट के कुछ लाभ इस प्रकार हैं.

फायदेकम टैरिफ और ड्यूटी: इससे व्यापारिक लागत घटती है और सामान सस्ता हो सकता है.आयात-निर्यात बढ़ता है: दोनों देशों को अधिक व्यापार के अवसर मिलते हैं.निवेश के अवसर बढ़ते हैं: व्यापार में सुधार से विदेशी निवेश को भी बढ़ावा मिलता है.आर्थिक सहयोग मजबूत होता है: इससे दोनों देशों के बीच राजनीतिक और आर्थिक संबंध बेहतर होते हैं.प्रतिस्पर्धा बढ़ती है: कंपनियों को नए बाजार मिलते हैं, जिससे उत्पादों की गुणवत्ता सुधरती है.

टैरिफ पर क्या होगा असरअगर दोनों देशों के बीच फ्री ट्रेड एग्रीमेंट पर सहमति बन जाती है तो जाहिर कि दोनों ही ओर से ड्यूटी लगभग न के बराबर रह जाएगी. ऐसा भी संभव है कि कुछ उत्पादों को इससे बाहर कर दिया और उस पर ड्यूटी लगाई जाए लेकिन अधिकांश सामानों पर शुल्क खत्म हो जाएगा. इससे भारत और यूएस के बीच टैरिफ वॉर की समस्या की समाप्त हो जाएगी. भारत में यूएस से आने वाले कई सामान बहुत सस्ते हो जाएंगे. इसी तरह भारत द्वारा अमेरिका भेजे जा रहे उत्पाद और सेवाएं भी उनके लिए सस्ते हो जाएंगे. इससे भारत में निर्माताओं और सर्विस प्रोवाइडर्स के पास और काम आने की उम्मीद बढ़ जाएगी.

भारत के बाइलेट्रल ट्रेड एग्रीमेंटभारत के अभी भी कुछ देशों के साथ ट्रेड एग्रीमेंट हैं. मसलन, भारत का ऑस्ट्रेलिया, मॉरीशस,यूएई, साउथ कोरिया और सिंगापुर के साथ ट्रेड एग्रीमेंट हैं. इसके अलावा यूके, कनाडा, ईयू और इजरायल के साथ एग्रीमेंट को लेकर चर्चा जारी है.
Location :New Delhi,DelhiFirst Published :March 21, 2025, 16:50 ISThomebusinessटैरिफ पर नया फॉर्मूला! यूएस और भारत के बीच होगा ट्रेड एग्रीमेंट? समझिए मायने

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