Last Updated:February 20, 2025, 22:48 ISTइंफोसिस ने मैसूरु कैंपस में छंटनी पर सफाई दी, CHRO शाजी मैथ्यू ने जबरदस्ती के आरोपों को खारिज किया. 300 से ज्यादा कर्मचारी परफॉर्मेंस के आधार पर निकाले गए. कंपनी ने बाउंसर बुलाने और ट्रेनीज को जानबूझकर फेल करने…और पढ़ेंइन्फोसिस ने बड़ी संख्या में ट्रेनी कर्मचारियों की छंटनी कर दी थी. हाइलाइट्सइंफोसिस ने मैसूरु कैंपस में छंटनी पर सफाई दी.300 से ज्यादा कर्मचारी परफॉर्मेंस के आधार पर निकाले गए.कंपनी अगले वित्तीय वर्ष में 20,000 फ्रेशर्स को हायर करेगी.नई दिल्ली. देश की आईटी दिग्गज कंपनी इंफोसिस (Infosys) ने मैसूरु कैंपस में हुई छंटनी को लेकर आखिरकार चुप्पी तोड़ी है. कंपनी के चीफ ह्यूमन रिसोर्स ऑफिसर (CHRO) शाजी मैथ्यू ने माना कि इस बार असेसमेंट फेल होने की दर पहले की तुलना में थोड़ी ज्यादा रही, लेकिन उन्होंने यह साफ किया कि कर्मचारियों पर किसी तरह का दबाव नहीं बनाया गया. हाल ही में खबरें आई थीं कि कंपनी ने 300 से ज्यादा कर्मचारियों को परफॉर्मेंस के आधार पर नौकरी से निकाला और इस दौरान कर्मचारियों पर जबरदस्ती या धमकी देने जैसे हथकंडे अपनाए गए.
उन्होंने जानबूझकर ट्रेनीज को फेल किए जाने की खबरों का भी खंडन किया. शाजी मैथ्यू ने समाचार एजेंसी पीटीआई को दिए एक इंटरव्यू में कहा कि इंफोसिस अपने कर्मचारियों को चुनने और ट्रेनिंग देने में भारी निवेश करता है. उन्होंने स्पष्ट किया, “हम ट्रेनिंग के दौरान भी सैलरी देते हैं. यह हमारे हित में नहीं है कि हम प्रशिक्षित कर्मचारियों को जाने दें, यह हमारे लिए भी नुकसानदेह होता है.” उन्होंने यह भी बताया कि छंटनी किए गए ट्रेनी तीन बार असेसमेंट में फेल हुए थे. हालांकि, उन्होंने यह भी माना कि इस बार फेल होने वाले ट्रेनी कर्मचारियों की संख्या पहले से कुछ ज्यादा थी.
लेबर डिपार्टमेंट से चल रही बातचीतमैसूरु कैंपस में छंटनी के बाद कर्नाटक के श्रम विभाग (Labour Department) ने जांच शुरू की थी. इस पर शाजी मैथ्यू ने कहा कि कंपनी पूरी तरह से लेबर विभाग के साथ सहयोग कर रही है और अधिकारियों को ट्रेनिंग व असेसमेंट प्रक्रिया की पूरी जानकारी दी गई है.
क्या निकाले गए कर्मचारियों को दोबारा रखा जाएगा?जब उनसे पूछा गया कि क्या इंफोसिस इन प्रशिक्षुओं को दोबारा नौकरी देने पर विचार करेगा, तो मैथ्यू ने कहा कि इस पर लेबर डिपार्टमेंट की ओर से कोई अनुरोध नहीं आया है.
यूनियन ने लगाए गंभीर आरोपइंफोसिस की इस छंटनी को लेकर आईटी कर्मचारियों की यूनियन NITES (Nascent Information Technology Employees Senate) ने कड़ी प्रतिक्रिया दी है. यूनियन का कहना है कि कर्मचारियों को जबरदस्ती “म्यूचुअल सेपरेशन” (Mutual Separation) पत्र पर साइन करने के लिए मजबूर किया गया. यूनियन ने श्रम मंत्रालय से कंपनी के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग की है.
बाउंसर जैसी अफवाहें गलतशाजी मैथ्यू ने यह भी खंडन किया कि कर्मचारियों पर दबाव डालने या जबरदस्ती कैंपस छोड़ने के लिए बाउंसर बुलाए गए थे. उन्होंने कहा, “हम अपने ही प्रशिक्षुओं के लिए बाउंसर क्यों बुलाएंगे? यह पूरी तरह गलत है.”
क्या आगे भी छंटनी होगी?कंपनी ने यह भी साफ किया कि छंटनी के बावजूद इंफोसिस नए भर्तियों की योजना बना रही है. कंपनी अगले वित्तीय वर्ष में 20,000 फ्रेशर्स को हायर करने का लक्ष्य रख रही है.
Location :New Delhi,DelhiFirst Published :February 20, 2025, 22:48 ISThomebusinessइन्फोसिस ने आखिरकार तोड़ी चुप्पी, चीफ एचआर ने बताई छंटनी की पूरी कहानी
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